October 21, 2025

Daily abhi tak samachar

Hind Today24,Hindi news, हिंदी न्यूज़ , Hindi Samachar, हिंदी समाचार, Latest News in Hindi, Breaking News in Hindi, ताजा ख़बरें, Daily abhi tak

पुलिस स्मृति दिवस पर मुख्यमंत्री धामी ने शहीद जवानों को दी श्रद्धांजलि

1 min read

*पुलिस बल के कल्याण हेतु मुख्यमंत्री की बड़ी घोषणाएँ — रजत जयंती पदक, आवास निर्माण और कल्याण कोष में बढ़ोतरी की घोषणा

देहरादून, 21 अक्तूबर। पुलिस स्मृति दिवस के अवसर पर पुलिस लाइन देहरादून स्थित शहीद स्मारक स्थल पर सोमवार को आयोजित श्रद्धांजलि कार्यक्रम में मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने शहीद पुलिस जवानों को नमन करते हुए कहा कि राज्य सरकार पुलिस बल के कल्याण और सशक्तिकरण के लिए पूरी तरह प्रतिबद्ध है।मुख्यमंत्री ने इस अवसर पर उत्तराखण्ड पुलिस के कल्याण और संसाधन विस्तार हेतु कई महत्वपूर्ण घोषणाएँ कीं।

मुख्यमंत्री धामी ने कहा कि राज्य स्थापना की रजत जयंती वर्ष के उपलक्ष्य में प्रदेश के सभी पुलिस कार्मिकों को विशेष ‘रजत जयंती पदक’ प्रदान किया जाएगा। इसके साथ ही आगामी तीन वर्षों तक पुलिस कर्मियों के आवासीय भवनों के निर्माण के लिए प्रतिवर्ष ₹100 करोड़ की धनराशि उपलब्ध कराई जाएगी।

एसडीआरएफ के जवानों के लिए भवाली (नैनीताल), ढालमल्ला (काण्डा-बागेश्वर), नैनीडांडा (धुमाकोट-पौड़ी), घनसाली (टिहरी) और सतपुली (पौड़ी) में पाँच नई बैरकों का निर्माण कराया जाएगा। पुलिस कल्याण निधि की राशि भी ₹2.50 करोड़ से बढ़ाकर ₹4.50 करोड़ कर दी गई है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि देश की आंतरिक सुरक्षा की जिम्मेदारी पुलिस और अर्द्धसैनिक बलों के कंधों पर है। “पिछले एक वर्ष में देशभर में 186 पुलिस एवं अर्द्धसैनिक कर्मियों ने सर्वोच्च बलिदान दिया है, जिनमें उत्तराखंड पुलिस के चार वीर सपूत भी शामिल हैं। उनका बलिदान हमारे लिए सदा प्रेरणा का स्रोत रहेगा,” उन्होंने कहा।


पुलिस बल के लिए नए निर्माण, पदोन्नति और स्मार्ट पुलिसिंग की दिशा में काम

मुख्यमंत्री ने बताया कि सरकार ने विगत तीन वर्षों में पुलिस भवनों के निर्माण के लिए ₹500 करोड़ की धनराशि जारी की है, जिससे 688 आवासीय भवनों का निर्माण कार्य प्रगति पर है। शीघ्र ही 120 नए आवासों का निर्माण भी प्रारंभ किया जाएगा।
उन्होंने कहा कि स्मार्ट पुलिसिंग की दिशा में बैरक, मैस और कार्यस्थलों के अपग्रेडेशन के लिए भी पर्याप्त धनराशि दी गई है।

राज्य में पुलिस कर्मियों की पदोन्नति प्रक्रिया को समयबद्ध बनाया गया है। इस वर्ष 356 अधिकारी एवं कर्मचारी पदोन्नत हुए हैं, जबकि 115 पदों पर कार्यवाही जारी है।मुख्यमंत्री ने बताया कि पुलिस कर्मियों के वेतन, भत्ते, चिकित्सा प्रतिपूर्ति और अवकाश से संबंधित प्रक्रियाएँ अब पूरी तरह ऑनलाइन हो गई हैं।

उन्होंने कहा कि पुलिस बल की क्षमता वृद्धि के लिए एआई और साइबर सुरक्षा से जुड़े प्रशिक्षण देश के प्रतिष्ठित संस्थानों में कराए जा रहे हैं। नरेंद्रनगर पीटीसी को “सेंटर ऑफ एक्सीलेंस” के रूप में विकसित किया जा रहा है।


शहीद परिवारों और पुलिस कल्याण के लिए अनेक पहलें

मुख्यमंत्री ने बताया कि मृतक पुलिस कर्मियों के परिवारों को सहयोग देने के लिए इस वर्ष 136 आश्रित परिवारों को विभिन्न पदों पर नियुक्तियाँ दी गई हैं।खिलाड़ियों को प्रोत्साहित करने के लिए “उत्तराखंड खेल नीति” के तहत पुलिस में विशेष कोटे की भर्तियाँ की जा रही हैं।उन्होंने कहा कि पुलिस कर्मियों के मानसिक स्वास्थ्य और तनाव प्रबंधन हेतु नियमित कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे।

मुख्यमंत्री ने उत्तराखण्ड पुलिस की सराहना करते हुए कहा कि इस वर्ष कांवड़ यात्रा में 4 करोड़ से अधिक श्रद्धालुओं और चारधाम यात्रा में 50 लाख से अधिक भक्तों को सुरक्षित दर्शन कराने में पुलिस ने उत्कृष्ट भूमिका निभाई है।

साइबर अपराध और नशे के खिलाफ पुलिस की कार्रवाई की प्रशंसा करते हुए उन्होंने बताया कि बीते तीन वर्षों में एंटी नारकोटिक फोर्स ने 6199 से अधिक नशे के सौदागरों को गिरफ्तार कर ₹275 करोड़ से अधिक के नशीले पदार्थ बरामद किए हैं।
साथ ही, साइबर फ्रॉड के मामलों में पुलिस ने 63 करोड़ रुपये से अधिक की राशि पीड़ितों को वापस दिलाई है।

डीजीपी ने दी श्रद्धांजलि, कहा—205 शहीदों की वीरता पुलिस इतिहास की स्वर्णिम धरोहर

पुलिस महानिदेशक ने कहा कि आज का दिन पुलिस और अर्द्धसैनिक बलों के उन वीर सपूतों की याद दिलाता है जिन्होंने देश की आंतरिक सुरक्षा और सीमाओं की रक्षा में अपने प्राण न्योछावर किए।

उन्होंने बताया कि स्वतंत्रता के बाद से अब तक देशभर में 35,000 से अधिक पुलिस कर्मी शहीद हो चुके हैं। केवल पिछले वर्ष ही 186 पुलिस कर्मियों ने सर्वोच्च बलिदान दिया, जिनमें उत्तराखंड पुलिस के चार वीर सपूत — अपर गुल्मनायक पुष्कर चन्द्र, अपर उपनिरीक्षक संजीव, आरक्षी धनराज और आरक्षी गोकुल लाल शामिल हैं।

डीजीपी ने कहा कि राज्य गठन से अब तक 205 पुलिस कर्मियों ने अपने प्राणों की आहुति दी है — “ये केवल संख्या नहीं, बल्कि 205 दीपों की वह पंक्ति है जिसने अपने जीवन का उजाला जन-जन की सुरक्षा और शांति के लिए समर्पित किया।”

उन्होंने बताया कि अब तक 3612 मेधावी बच्चों को ₹3.04 करोड़ की छात्रवृत्ति दी गई है, जबकि 600 पुलिस कर्मियों को ₹17 करोड़ की चिकित्सा सहायता प्रदान की गई है।सैलरी पैकेज योजना के तहत पुलिस कर्मियों को ₹1 करोड़ तक का बीमा लाभ मिल रहा है। अब तक 55 परिवारों को ₹26.20 करोड़ की अनुग्रह राशि दी जा चुकी है।
राज्य के 13 जनपदों और 4 पीएसी वाहिनियों में सेंट्रल पुलिस कैंटीन संचालित हैं, और देहरादून, हरिद्वार तथा पीएसी वाहिनियों में पाँच पुलिस मॉडर्न स्कूलों में 3032 बच्चे अध्ययनरत हैं।

कार्यक्रम में गणमान्य अतिथि रहे उपस्थित

श्रद्धांजलि समारोह में कैबिनेट मंत्री सतपाल महाराज, सांसद नरेश बंसल, विधायक खजान दास,बृजमोहन गैरोला,सविता कपूर,मुख्य सचिव आनंद बर्धन, मुख्य सूचना आयुक्त राधा रतूड़ी, पूर्व पुलिस महानिदेशक सुभाष जोशी, अनिल के. रतूड़ी, राम सिंह मीणा सहित वरिष्ठ पुलिस अधिकारी और गणमान्य अतिथि उपस्थित रहे।

सभी ने शहीद पुलिस कर्मियों को पुष्पचक्र अर्पित कर श्रद्धांजलि दी और उनके परिवारजनों का सम्मान किया।


Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *